चक्रवाती तूफान “तौउते” की दस्तक में भी बेसहारा जानवरों व पक्षियों का सहारा बने अमित सिकराय, राजकुमार सैन

दौसा

दौसा,सिकराय ।लॉकडाउन और मेंर ऊपर से क्षेत्र सिकराय में चक्रवाती तूफान “तौउते” की दस्तक के बाद बेजुबान और बेसहारा जानवरों व पक्षियों पर आफत टूटी है।
एसे में सड़कों और गलियों में घूमने वाले इन बेजुबान जानवरों व अरावली पहाड़ियों में घूमने वाले बंदरों की कोई सुध लेने वाला नहीं है। ऐसे में कई युवा बेसहारा जानवरों व पक्षियों को सहारा बन नई मिसाल पेश कर रहे हैं। जानवरों को खाना खिलाना और पक्षियों के लिए परिंडे लगाना, अब उनकी दिनचर्या में शामिल हो गया है।

जानवरों व पक्षियों की सेवा कर यह युवा अन्य लोगों के लिए मिसाल बनकर सामने आ रहे हैं। बेजुबान जानवरों पर लॉकडाउन में टूटी आफत में उनका सहारा बनने के लिए इन युवाओं की तरह लोगों को आगे आना चाहिए।

लो-फ्लोर ( जेसीटीएसएल) परिचालक अमित मीना ने बताया की वर्तमान में कोरोना काल के चलते प्रदेश के सभी मंदिर बंद है यात्रियों के बंद होने से यहां के बंदरों को खाना पीना नहीं मिल पा रहा है जिसको ध्यान में रखकर परिचालक द्वारा अपने टीम के सदस्यों के साथ मिलकर बंदरों व गायो को टमाटर व बाटियां खिलाई जाती है और साथ में पक्षियों को परिंडे लगाकर दाना-पानी व्यवस्था की जाती है।

वही मंगलवार से चक्रवाती तूफान “तौउते” का असर जानवरों पर भी दिखाने लगा। जिसको लेकर युवाओं के साथ NH 21 आतरहेड़ा कस्बे के समीप मोरा माता व गुफा वाले संत बाबा का मंदिर और खोंदकी रामेड़ा पर बंदरो को टमाटर खिलाए। इस दौरान परिचालक अमित सिकराय ,lt. राज मुंडियाखेडा, अंकित मीना, सौरभ तिवाड़ी, दीपक जैमन रमेडा, रामू सैनी, मुकेश मीना सिकराय , छोटू,सुरेश शर्मा आदि लोग मोके पर मौजूद रहे।

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